‘मन की बात’ में छलका प्रधानमंत्री मोदी का दर्द, 26 जनवरी की घटना को बताया…!

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने आज (31 जनवरी, रविवार) को अपने रेडियो कार्यक्रम 'मन की बात' (Mann ki Baat) के जरिए राष्ट्र को संबोधित किया।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) ने आज (31 जनवरी, रविवार) को अपने रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ (Mann ki Baat) के जरिए राष्ट्र को संबोधित किया। मन की बात कार्यक्रम का यह 73वां संस्करण है। पीएम मोदी ने देशवासियों को संबोधित करते हुए कहा कि गणतंत्र दिवस पर लाल किले पर जो हुआ, उससे देश में गुस्‍सा है। तिरंगे का अपमान देखकर देश दुखी हुआ।

आपसे मन की बात करता हूं तो ऐसा लगता है कि…

कार्यक्रम की शुरूआत करते हुए प्रधानमंत्री मोदी (Narendra Modi) ने कहा कि जब मैं आपसे मन की बात करता हूं तो ऐसा लगता है कि मैं आपके परिवार का सदस्य हूं और आपके बीच उपस्थित हूं। लग ही नहीं रहा कि साल का पहला महीना बीत गया है। हमारी छोटी-छोटी बातें, जो एक-दूसरे को, कुछ सिखा जाये, जीवन के खट्टे-मीठे अनुभव, जो जी-भर के जीने की प्रेरणा बन जाये – बस यही तो है ‘मन की बात’।

क्रिकेट पिच से भी मिली बहुत अच्छी खबर

पीएम ने कहा कि कुछ दिन पहले की ही तो बात लगती है कि जब हम एक दूसरे को शुभकमनाएं दे रहे थे, फिर हमने लोहड़ी मनाई, मकर संक्रांति मनाई, पोंगल, बिहु मनाया। देश के अलग-अलग हिस्सों में त्योहारों की धूम रही।

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उन्होंने कहा कि इस महीने, क्रिकेट पिच से भी बहुत अच्छी खबर मिली। हमारी क्रिकेट टीम ने शुरुआती दिक्कतों के बाद, शानदार वापसी करते हुए ऑस्ट्रेलिया में सीरीज जीती। हमारे खिलाड़ियों का हार्ड वर्क और टीमवर्क प्रेरणा देने वाला है।

कोरोना के खिलाफ भारत की लड़ाई उदाहरण

कोरोना वैक्सीन के टीकाकरण की चर्चा करते हुए प्रधानमंत्री (Narendra Modi) ने कहा कि इस साल की शुरुआत के साथ कोरोना के खिलाफ लड़ाई को भी करीब-करीब एक साल पूरा हो गया है। जैसे कोरोना के खिलाफ भारत की लड़ाई उदाहरण बनी है। वैसे ही अब हमारा टीकाकरण कार्यक्रम भी दुनिया में एक मिसाल बन रहा है। आज दुनिया का सबसे बड़ा कोविड वैक्सीन प्रोग्राम भारत चला रहा है।

भारत के आत्मगौरव का प्रतीक

उन्होंने कहा कि संकट के समय में भारत, दुनिया की सेवा इसलिए कर पा रहा है, क्‍योंकि भारत आज दवाओं और वैक्‍सीन को लेकर सक्षम है, आत्‍मनिर्भर है। यही सोच ‘आत्‍मनिर्भर भारत’ अभियान की भी है। हम दुनिया में सबसे तेज गति से अपने नागरिकों का टीकाकरण भी कर रहे हैं। सिर्फ 15 दिन में भारत 30 लाख से ज्यादा corona warrior का वैक्सीनेशन कर चुका है, जबकि अमेरिका जैसे समृद्ध देश को, इसी काम में 18 दिन लगे थे और ब्रिटेन को 36 दिन लगे। पीएम बोले- साथियों, मेड इन इंडिया वैक्सीन आज भारत की आत्मनिर्भरता का तो प्रतीक है ही साथ ही भारत के आत्मगौरव का भी प्रतीक है।

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75 वर्ष का समारोह ‘अमृत महोत्सव’ शुरू

मन की बात में प्रधानमंत्री मोदी (Narendra Modi) ने कहा कि इस साल से भारत अपनी आजादी के 75 वर्ष का समारोह ‘अमृत महोत्सव’ शुरू करने जा रहा है। ऐसे में यह हमारे उन महानायकों से जुड़ी स्थानीय जगहों का जानकारी करने का अच्छा समय है, जिनकी वजह से हमें आजादी मिली। शहीदों को नमन करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि मैं उनके साहस का श्रद्धापूर्वक स्मरण करता हूं।

इंडिया सेवेंटी फाइव के निमित्त एक इनिशिएटिव की शुरूआत

उन्होंने कहा कि यंग राइटर्स के लिए इंडिया सेवेंटी फाइव के निमित्त एक इनिशिएटिव शुरू किया जा रहा है। इससे सभी राज्यों और भाषाओं के युवा लेखकों को प्रोत्साहन मिलेगा।

बोयिनपल्ली में फेंकी हुई सब्जियों से बनती है बिजली

पीएम मोदी (Narendra Modi) ने कहा कि हैदराबाद के बोयिनपल्ली में एक स्थानीय सब्जी मंडी किस तरह अपने दायित्व को निभा रही है, ये पढ़कर भी मुझे बहुत अच्छा लगा। बोयिनपल्ली सब्जी मंडी में हर रोज बेकार बची हुई सब्जियों से व्यापारियों द्वारा बिजली बनाने की पहल ‘इनोवेशन’ की ताकत है।

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पर्यावरण की रक्षा से आमदनी के खुलते हैं रास्ते

पर्यावरण की रक्षा से कैसे आमदनी के रास्ते भी खुलते हैं, इसका एक उदाहरण अरुणाचल प्रदेश के तवांग में भी देखने को मिला। इस पहाड़ी इलाके में सदियों से ‘मोन शुगु’ नाम का एक पेपर बनाया जाता है। इसके लिए पेड़ों को नहीं काटना पड़ता है।

चार भारतीय वूमेन पायलट्स ने संभाली नॉन स्टॉप फ्लाइट की कमान

प्रधानमंत्री (Narendra Modi) ने कहा कि कुछ दिन पहले अमेरिका के सैन फ्रांसिस्को से बंगलूरू के लिए एक नॉन स्टॉप फ्लाइट की कमान भारत की चार वूमेन पायलट्स ने संभाली। दस हजार किलोमीटर से भी ज्यादा लंबा सफर तय करके ये फ्लाइट सवा दो-सौ से अधिक यात्रियों को भारत लेकर आई।

बुंदेलखंड में स्ट्रॉबेरी!

पिछले दिनों झांसी में एक महीने तक चलने वाला ‘स्ट्रॉबेरी फेस्टिवल’ शुरू हुआ। हर किसी को आश्चर्य होता है कि स्ट्रॉबेरी और बुंदेलखंड, लेकिन यही सच्चाई है। जो स्ट्राबेरी कभी, पहाड़ों की पहचान थी, वो अब नई तकनीक की मदद से कच्छ की रेतीली जमीन पर भी उगाई जाने लगी है, जिससे किसानों की आय बढ़ रही है।

खेती को आधुनिक बनाने के लिए सरकार प्रतिबद्ध

पीएम मोदी (Narendra Modi) ने कहा कि खेती को आधुनिक बनाने के लिए सरकार प्रतिबद्ध है और अनेक कदम उठा भी रही है, जो आगे भी जारी रहेंगे।

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