पीलीभीत: कोरोना की मार से सूना पडा सिद्धपीठ यशवंतरि देवी मंदिर

देश में कोरोना महामारी के चलते हाहाकार मचा हुआ है। कोरोना के संक्रमण की मार पूरा देश झेल रहा है। चैत्र नवरात्रि की पूजा पाठ लोग अपने घरों में कर रहे है। जनपद पीलीभीत में स्थित एक मात्र सिद्ध पीठ माँ यशवंतरि देवी का प्रांगण सूना पड़ा है।

देश में कोरोना महामारी के चलते हाहाकार मचा हुआ है। कोरोना (corona) के संक्रमण की मार पूरा देश झेल रहा है। चैत्र नवरात्रि की पूजा पाठ लोग अपने घरों में कर रहे है। जनपद पीलीभीत में स्थित एक मात्र सिद्ध पीठ माँ यशवंतरि देवी का प्रांगण सूना पड़ा है। मन्दिर की मान्यता है कि इस जगह पर नकटा दानव नामक एक राक्षस रहा करता था।

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जिसका वध कर माता ने लोगों की जान बचाई थी। उसके बाद इस स्थान पर मां ने अपने शस्त्र रखकर पात्र में जल गृहण किया था। वही पात्र आज भी यहां पर स्थापित है जिसकी लोग पूजा अर्चना करते है। मान्यता है कि लोगों को यहां दर्शन मात्र से ही सारे कष्ट व बिगडे काम बनते है। जिस कारण यहां की ख्याति दूर दूर तक फैली हुई है। चैत्र नवरात्रि में माँ के दर्शन के लिये लाखों श्रधालु आकर पूजा पाठ करते है।

वहीं वर्तमान समय की बात की जायें तो कोरोना महामारी के चलते मां का प्रांगण सूना पड़ा हुआ है। तेजी से फैलता संक्रमण लोगों को अपना शिकार बना रहा है। ऐसे में सभी धार्मिक संस्थानों पर पूजा पाठ व भीड़ की मनाही की गई है ताकि परिस्थितियां अनुकूल बनी रहे। वहीं मन्दिर के गर्भ गृह को पिछले वर्ष से बन्द किया गया है। जिसमें किसी का भी प्रवेश वर्जित है। लोग बाहर से ही हाथ जोड़कर मां को दिल से याद कर अपनी पूजा पाठ कर रहे है।

नवरात्रि के समय लाखों की तादाद में उपस्थित रहने वाले श्रद्धालुओं की संख्या महज दहाई के आकड़े में सिमट कर रह गई है। कोरोना के प्रति सजग लोग अपने घरों में रहकर ही माता को दिल से याद कर दर्शन लाभ ले रहे है। वहीं इस महामारी की वजह से मन्दिर से जुड़े व्यवसाय वाले लोग फिलहाल आर्थिक मंदी से जूझ रहे है। लेकिन स्थिति सामान्य होने तक इन्तजार और कोरोना से बचाव ही सबकी पहली प्राथमिकता बनी हुई है।

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