ऑनलाइन खाना अब पड़ सकता है जेब पर भारी, कारण जान चौक जाएंगें

वस्तुओं और सेवाओं पर इस टैक्स से ऑनलाइन खाद्य वितरण कंपनियों पर दबाव बढ़ रहा है।

अगर आप ऑनलाइन खाना ऑर्डर करना पसंद करते हैं तो इस साल आपकी जेब पर बोझ बढ़ेगा। दरअसल, 1 जनवरी से स्विगी और जोमैटो समेत दूसरे प्लेटफॉर्म से खाना ऑर्डर करना और महंगा हो गया है। इसका कारण जीएसटी है। वस्तुओं और सेवाओं पर इस टैक्स से ऑनलाइन खाद्य वितरण कंपनियों पर दबाव बढ़ रहा है। कंपनियां इस दबाव को कम करने के लिए ग्राहकों को मुआवजा देंगी। ऑनलाइन फूड डिलीवरी कंपनियों को अब रेडीमेड फूड पर 5 फीसदी जीएसटी देना होगा।

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इसे देखकर कंपनियां अपने ग्राहकों को भुगतान करेंगी। ऑनलाइन फूड डिलीवरी कंपनियों की लिस्ट में Swiggy और Zomato टॉप पर हैं। ये कंपनियां लोगों के घरों में खाना पहुंचाती हैं। पहले इन कंपनियों को जीएसटी नहीं देना पड़ता था। हालांकि यह नया नियम नए साल से लागू किया गया है। इससे खाना ऑर्डर करना महंगा हो सकता है। हालांकि अभी तक कंपनियों की ओर से कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है।

नए नियमों के तहत अब ऑनलाइन फूड सर्विस कंपनियां अपने प्लेटफॉर्म से जुड़े सभी रेस्टोरेंट और होटलों से जीएसटी वसूलने और वसूलने की जिम्मेदारी लेंगी। इसका मतलब यह है कि Zomato और Swiggy जैसी कंपनियां अब हर ऑर्डर पर 5 फीसदी अतिरिक्त GST लगाएगी। ध्यान दें कि ऐसी कंपनियां 18% GST चार्ज करती थीं। अब इसमें और 5 फीसदी की बढ़ोतरी होगी। सीधे शब्दों में कहें तो छोटे रेस्टोरेंट या होटल या घर से ऑनलाइन खाना बेचने वालों को जोमैटो और स्विगी पर रखे गए हर ऑर्डर पर अलग से 5 फीसदी जीएसटी देना होगा। उपभोक्ताओं पर बढ़े हुए कर के बोझ को कम करने के लिए कंपनियां कूपन या अन्य छूट की पेशकश कर सकती हैं।

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