झांसी – बुंविवि: दीक्षांत समारोह में पदक पाकर खिले मेधावियों के चेहरे

बुंदेलखंड विश्वविद्यालय का 25 वां दीक्षांत समारोह आज आयोजित हुआ। इस दीक्षांत समारोह में उत्तर प्रदेश की राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल को संबोधित करने के लिए आना था, लेकिन खराब मौसम के कारण उनका कार्यक्रम निरस्त हो गया।

बुंदेलखंड विश्वविद्यालय का 25 वां दीक्षांत समारोह आज आयोजित हुआ। इस दीक्षांत समारोह में उत्तर प्रदेश की राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल को संबोधित करने के लिए आना था, लेकिन खराब मौसम के कारण उनका कार्यक्रम निरस्त हो गया। हालांकि राज्यपाल ने दीक्षांत समारोह को वर्चुअल संवाद के माध्यम से संबोधित किया।

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इस अवसर पर समारोह के मुख्य अतिथि बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति तथा अंतर विश्वविद्यालय त्वरत केंद्र नई दिल्ली के निदेशक प्रोफेसर अविनाश चंद्र पांडे ने सफल छात्र-छात्राओं को उपाधियां वितरित करते हुए कहा कि यह विश्वविद्यालय राज्य स्तरीय विश्वविद्यालय में अलग स्थान रखता है। हाल ही में इस विश्वविद्यालय ने रिसर्च के क्षेत्र में कई उपलब्धियां हासिल की है। विकासशील देश के लिए नई तकनीकों को इजाद करने में यह विश्वविद्यालय अग्रणी है। इसी तरह कृषि के क्षेत्र में भी इस विश्वविद्यालय ने कई मील के पत्थरों वाले काम किए हैं। उन्होंने उम्मीद जताई कि आने वाले समय में यह विश्वविद्यालय पूरे उत्तर प्रदेश में एक आदर्श विश्वविद्यालय के रूप में स्थापित होगा। उन्होंने कहा कि जिस तरह से छात्रों की अपेक्षा छात्राओं ने अधिक सफलता हासिल की है, निश्चित रूप से प्रसन्नता की बात है। बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के कुलपतिप्रो. जे वी वैशंपायन ने कहा कि इस वर्ष भी पिछली वर्ष की तरह छात्राएं छात्रों से आगे रहे हैं। एक समय था, जब छात्र छात्राओं से आगे हुआ करते थे, लेकिन आज उल्टा हो गया है। हमारा मानना है कि समाज में समानता बनी रही चाहिए, इसलिए छात्रों को भी यह प्रयास करना चाहिए कि वे भी छात्राओं की भांति अध्ययन पर ध्यान केंद्रित करें।

इससे पूर्व समारोह की शुरुआत दीप प्रज्ज्वलन एवं सरस्वती वंदना के साथ हुई। दीक्षांत समारोह में कुल 49 शोध उपाधियां प्रदान की गई। इनमें कृषि संकाय में दो, कला संकाय में 23, वाणिज्य संकाय में 10, विधि संकाय में एक, विज्ञान संकाय में 13 उपाधियां शामिल हैं। 24 महिलाओं तथा 25 पुरुष अभ्यर्थियों को यह उपाधियां दी गईं। इसी तरह से विश्वविद्यालय परिसर में चल रहे पाठ्यक्रमों में 7724 छात्राओं तथा 1565 छात्रों को स्नातक की उपाधि प्रदान की गई। 324 छात्राओं और 367 छात्रों को परास्नातक की उपाधि दी गई। विश्वविद्यालय से संबद्ध महाविद्यालयों के 12598 छात्र तथा 20319 छात्राओं को स्नातक एवं 2950 छात्र तथा 5770 छात्राओं को परास्नातक की उपाधि प्रदान की गई। समारोह में सर्वोच्च अंक प्राप्त करने के आधार पर कृषि संकाय की छात्रा दीपमाला जैन को कुलाधिपति स्वर्ण पदक प्रदान किया गया। इसके अलावा 9 महिला तथा तीन पुरुषों को रजत तथा 15 महिलाएं और 5 पुरुषों को कांस्य पदक प्रदान किए गए। 44 विन्यासीकृत पदकों में 38 पदक महिलाओं को तथा छह पदक पुरुषों को प्रदान किए गए।

रिपोर्ट- मदन यादव

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