क्या आप जानते हैं बच्चों के मानसिक विकास के लिए बेहद जरूरी है खेलकूद

आपने अक्सर देखा होगा कि जब बच्चे खेलते हैं, तो उनके चेहरे पर खुशियां होती हैं। यह उनके मानसिक विकास के लिए भी बहुत जरूरी है। इससे वो तनाव से काफी दूर रह पाएंगे। तो चलिए आपको बताते हैं खेलकूद के फायदे....

आपने अक्सर देखा होगा कि जब बच्चे खेलते हैं, तो उनके चेहरे पर खुशियां होती हैं। यह उनके मानसिक विकास के लिए भी बहुत जरूरी है। इससे वो तनाव से काफी दूर रह पाएंगे। तो चलिए आपको बताते हैं खेलकूद के फायदे….

1. कई अध्ययनों में यह कहा गया है कि युवा उम्र में सक्रिय जीवनशैली अपनाने और स्वस्थ्य दिनचर्या पर अमल करने से मोटापा, मधुमेह, हड्डियों की कमजोरी और कोलेस्ट्रॉल तथा बाद में ब्लड प्रेशर जैसी गंभीर समस्याओं का खतरा कम किया जा सकता है।

2. किशोरों की तरह बच्चे भी तनाव के उच्च स्तर से गुजरते हैं। यदि यह तनाव बचपन में ही दूर न किया जाए तो इससे गंभीर अवसाद की समस्या पैदा हो सकती है। नियमित व्यायाम, फील-गुड केमिकल रिलीज करने से दिमाग के कुछ हिस्सों को सक्रिय बनाया जा सकता है जिससे चिंता और अवसाद दूर करने में मदद मिलती है। ऐसे केमिकल को न्यूरोट्रांसमिटर्स कहा जाता है और इनमें डोपामाइन, एंड्रोफिंस, नोरेपाइनफ्रिन और सेरोटोनिन शामिल होते हैं। न्यूरोट्रांसमिटर्स मन को नियंत्रित करने में सहायक होते हैं और शारीरिक गतिविधि बढ़ने पर ये रिलीज होते हैं। इसलिए इसे अवसाद दूर करने में कारगर माना जाता है।

3. खेलों का अन्य लाभ यह है कि इससे स्थायित्व पैदा होता है, खासकर उन बच्चों में, जो कमजोर पृष्ठभूमि और समुदायों से होते हैं। खेल बच्चों को कुछ खास करने का अवसर प्रदान करते हैं। अच्छी बात यह है कि खेल बच्चों को चरित्र निर्माण से संबंधित गतिविधियों से जोड़े रखने का प्रभावी माध्यम है। यह देखा गया है कि खाली समय में बच्चे बड़ी तेजी से खराब आदतों का शिकार हो जाते हैं।

4. बचपन में खेलों में सक्रियता से भाग लेना आगामी समय में शैक्षिक प्रदर्शन और समग्र विकास के सुधार के लिए बेहद प्रभावी साबित होता है। अध्ययनों से पता चला है कि जो बच्चे कम उम्र से खेलों में हिस्सा लेते हैं, उनमें ज्यादा सकारात्मक रुख, बेहतर टेस्ट स्कोर के साथ साथ कक्षा में अच्छी आदतों और बच्चों में फोकस और ध्यान केंद्रित करने की क्षमता अधिक होती है।

5. सीखे गए कौशल और शारीरिक गतिविधियों और खेलने के दौरान इनके इस्तेमाल से बच्चे की वृद्धि एवं विकास में बड़ी मदद मिलती है। ऐसी कई महत्वपूर्ण पारस्परिक मूल्य और विशेषताएं हैं, जो खेलने और टीमवर्क, ऑनेस्टी, वैल्यूइंग हार्ड वर्क जैसे स्पोर्ट्स में भाग लेने से हासिल होती हैं। स्पोर्ट्स के दौरान प्रतिस्पर्धा से बच्चों को सफलताओं और विफलताओं का प्रबंधन करने में मदद मिलती है।

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