Farmers Protest: बैठक के बाद बोले किसान नेता राकेश टिकैत- ‘कानून वापसी नहीं तो घर वापसी नहीं’
केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ कड़ाके की ठंड के बावजूद दिल्ली की सीमाओं पर डटे किसानों (Farmers) का आज (सोमवार) 40वां दिन है।
केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ कड़ाके की ठंड के बावजूद दिल्ली की सीमाओं पर डटे किसानों (Farmers) का आज (सोमवार) 40वां दिन है। कई दौर की बैठक होने के बाद भी कोई नतीजा न निकलने पर सरकार और किसान संगठनों के बीच आज दोपहर वार्ता होनी है। वहीं, विज्ञान भवन में सोमवार को आयोजित हुई सरकार और किसानों के बीच बैठक भी बेनतीजा रही है।
किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा…
विज्ञान भवन में आयोजित हुई इस बैठक के बाद किसान (Farmers) नेता राकेश टिकैत ने कहा कि 8 जनवरी को सरकार के साथ फिर से मुलाकात होगी। तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने और MSP को लेकर 8 तारीख को फिर से बातचीत होगी। हमने बता दिया है कि कानून वापसी नहीं तो घर वापसी नहीं।
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बैठक के बाद एक किसान नेता ने कहा कि हमने बताया कि पहले कृषि क़ानूनों को वापिस किया जाए, MSP पर बात बाद में करेंगे। 8 तारीख तक का समय सरकार ने मांगा है। उन्होंने कहा कि 8 तारीख को हम सोचकर आएंगे कि ये कानून वापिस हम कैसे कर सकते हैं, इसकी प्रक्रिया क्या हो।
कृषि मंत्री नरेंद्र तोमर हैं आशावान
वहीं, इस बैठक के बाद केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र तोमर ने बताया कि आज बैठक का माहौल अच्छा था, लेकिन किसान (Farmers) संगठनों के कानून रद्द कराने की मांग पर अड़े रहने के कारण कोई हल नहीं निकला और आज हम किसी नतीजे पर नहीं पहुंच सके। लेकिन मैं आशावान हूं कि अगली बैठक जो 8 जनवरी को होगी, उसमें कोई न कोई नतीजा निकलेगा। उन्होंने कहा कि हमने किसानों (Farmers) को क्लॉज वाइज चर्चा करने को कहा और कुछ चर्चा एमएसपी पर भी हुई। हमें उम्मीद है कि आज की जैसी बात रही उसके हिसाब से अगली बैठक में हल निकलेगा।
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केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि किसानों (Farmers) की मान्यता है कि सरकार इसका रास्ता ढूंढे और आंदोलन समाप्त करने का मौका दे। सरकार देशभर के किसानों के प्रति प्रतिबद्ध है। सरकार जो भी निर्णय करेगी, सारे देश को ध्यान में रखकर ही करेगी। उन्होंने कहा कि हम चाहते हैं कि किसान यूनियन की तरफ से वो विषय आए, जिस विषय में किसान को कोई परेशानी होने वाली है, उस विषय पर सरकार खुले मन से विचार करने को तैयार है।
किसान नेता दर्शन पाल ने कहा…
वहीं, किसान नेता दर्शन पाल ने कहा कि सरकार को यह बात समझ आ गई है कि किसान (Farmers) संगठन कृषि कानूनों को रद्द किए बिना कोई बात नहीं करना चाहते हैं। हमसे पूछा गया कि क्या आप कानून को रद्द किए बिना नहीं मानेंगे, हमने कहा हम नहीं मानेंगे।
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बैठक से पहले किसान नेता बूटा सिंह ने कही बड़ी बात
सरकार के साथ बैठक से पहले किसान नेता बूटा सिंह (Buta Singh) ने कहा था कि अगर सरकार MSP पर कानून बनाती है, तभी बात बन सकती है।
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