नेशनल डिजिटल हेल्थ मिशन क्या है? कैसे लें इसका लाभ! पढ़े ये रिपोर्ट
पीएम नरेंद्र मोदी ने आज प्रधानमंत्री डिजिटल स्वास्थ्य मिशन को लॉन्च कर दिया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन को लॉन्च किया।
मोदी सरकार देश में इंटीग्रेटेड डिजिटल हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर बनाने की दिशा में बड़ा कदम उठाने जा रही है। सरकार की यह योजना एक ऐसे डिजिटल हेल्थ इकोसिस्टम को डेवलप करेगी, जिसमें हर व्यक्ति के पास अपनी एक यूनिक हेल्थ पहचान होगी, इस योजना के तहत हर भारतीय को एक यूनिक डिजिटल हेल्थ आईडी मिलेगी। इस स्वास्थ्य कार्ड में व्यक्ति के स्वास्थ्य का पूरा रिकॉर्ड होगा। इसके तहत लोगों को एक यूनीक आईडी कार्ड भी दिया जाएगा, जिसमें उनकी सारी जानकारी होगी।
इस मिशन का मसकद यह है कि हर शख्स की हेल्थकेयर सर्विस देने वाले संस्थानों तक पहुंच को आसान बनाया जाए। हर मरीज का पूरा मेडिकल डेटा रखने के लिए अस्पताल, क्लीनिक और डॉक्टर्स को एक सेंट्रल सर्वर से लिंक किया जाएगा। यानी इसमें अस्पताल, क्लीनिक और डॉक्टर भी रजिस्टर होंगे। वैसे अभी सरकार इसे सबके लिए अनिवार्य नहीं करेगी, लेकिन कोशिश यही है कि धीरे-धीरे हर कोई इस सिस्टम में आ जाए, जिससे व्यक्तिगत स्वास्थ्य रिकॉर्ड रखना आसान हो जाएगा।
ऐसे में तमाम पर्चों से भी छुटकारा मिलेगा। ना डॉक्टर का प्रिस्क्रिप्शन चाहिए होगा, ना ही बिल का झंझट रहेगा। ये शुरुआत देश में हेल्थ सर्विसेज की दिशा में बड़ा बदलाव साबित हो सकती है। आइए जानते इस मिशन के बारे में और समझते हैं क्या है यूनीक डिजिटल हेल्थ कार्ड , क्या है इसके फायदे। साथ ही ये भी जानते हैं घर बैठे ऑनलाइन कैसे बनाएं यूनीक डिजिटल हेल्थ कार्ड….
क्या है नेशनल डिजिटल हेल्थ मिशन?
पीएम नरेंद्र मोदी ने आज प्रधानमंत्री डिजिटल स्वास्थ्य मिशन को लॉन्च कर दिया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन को लॉन्च किया। इस मिशन को सरकार ने ऐतिहासिक करार दिया है और इसके तहत इन सुविधाओं का लाभ मिलेगा
- हर नागरिक के पास हेल्थ आईडी होगी
- यह कार्ड पूरी तरह से डिजिटल होगा जो देखने में आधार कार्ड की तरह होगा
- इस कार्ड पर आपको एक नंबर मिलेगा, जैसा नंबर आधार में होता है
- इसी नंबर से स्वास्थ्य के क्षेत्र में व्यक्ति की पहचान होगा
- नेशनल डिजिटल हेल्थ मिशन के अंतर्गत देश के डिजिटल हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर को इंटीग्रेट किया जाएगा.
- इस योजना के अंतर्गत सरकार देश के हेल्थ सिस्टम में बड़े पैमाने पर बदलाव लाने की तैयारी है.
- इसका मकसद हेल्थकेयर इकोसिस्टम के अलग-अलग स्टेकहोल्डर्स के बीच की दूरियों को डिजिटल हाइवे के जरिए पाटना है.
- हेल्थ आईडी कार्ड भी नेशनल डिजिटल हेल्थ मिशन का एक हिस्सा है.
क्या है यूनिक हेल्थ Health ID?
- यूनिक डिजिट हेल्थ आईडी 14 डिजिट का रैंडम तरीके से जनरेट नंबर होगा.
- इस हेल्थ आईडी कार्ड में व्यक्ति का पूरा हेल्थ रिकॉर्ड जैसेकि इलाज संबंधित जांच, रिपोर्ट, दवाइयां, डिस्चार्ज वगैरह से जुड़ी पूरी जानकारी स्टोर की जाएगी
- इसी कार्ड के जरिए डॉक्टर्स पेशेंट की पूरी मेडिकल हिस्ट्री देख पाएंगे.
- इस हेल्थ आईडी कार्ड की वजह से पेशेंट को अपना मेडिकल रिकॉर्ड फिजिकल रूप से लेकर चलने की जरूरत नहीं पड़ेगी यानी कि अगर कोई मरीज एक शहर से दूसरे शहर इलाज के लिए जाता है, तो उसे सिर्फ अपना डिजिटल हेल्थ कार्ड ही साथ रखना होगा.
- इस योजना के अंतर्गत अस्पताल क्लीनिक और डॉक्टर सभी एक सेंट्रलाइज्ड सर्वर से जुड़े होंगे.
- ये आधार जैसा ही होगा, जिसका 14 अंकों का रैंडम तरीके से जनरेट किया एक नंबर होगा।
- मरीज अपनी 14 डिजिट के यूनिक नंबर की मदद से सिस्टम में लॉगइन कर पाएंगे
- इस यूनिक आईडी से किसी भी मरीज की निजी मेडिकल हिस्ट्री पता चल सकेगी।
- यह कार्ड आधार के जरिए भी बनाया जा सकेगा और सिर्फ मोबाइल नंबर से भी बनाया जा सकेगा।
ऐसे बनवाएं हेल्थ आईडी
पब्लिक हॉस्पिटल, कम्युनिटी हेल्थ सेंटर, हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर या वैसा हेल्थकेयर प्रोवाइडर जो नेशनल हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर रजिस्ट्री से जुड़ा हो, किसी व्यक्ति की हेल्थ आईडी बना सकता है। https://healthid.ndhm.gov.in/register पर खुद के रिकॉर्ड्स रजिस्टर करा कर भी आप अपनी हेल्थ आईडी बना सकते हैं।
मोबाइल नंबर या आधार नंबर की मदद से कुछ बेसिक जानकारी देकर आप हेल्थ आईडी जनरेट कर सकते हैं. इसके लिए ..
- हेल्थ आईडी वेब पोर्टल या गूगल प्लेस्टोर से NDHM हेल्थ रिकॉर्ड अप्लीकेशन डाउनलोड करके सेल्फ-रजिस्ट्रेशन कराना होगा.
- मोबाइल नंबर से हेल्थ आईडी जनरेट करने के लिए नाम, जन्म का साल, जेंडर, एड्रेस और मोबाइल नंबर बताना होगा.
- आधार के हेल्थ आईडी जनरेट करते समय नाम, जन्म का साल, जेंडर, एड्रेस, मोबाइल नंबर और आधार नंबर की जानकारी देनी होगी.
- हेल्थ आईडी के लिए आधार अनिवार्य नहीं है.
- जल्द ही NDHM ऐसे फीचर लाएगा, जो अन्य आईडी डॉक्यूमेंट्स जैसेकि PAN कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस के जरिए हेल्थ आईडी जनरेट की जा सकेगी.
- रजिस्ट्रेशन की पूरी प्रक्रिया 10 मिनट से कम समय में पूरी हो जाएगी.
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