शाहीन बाग पर टली सुनवाई , कई इलाकों में मेट्रो स्टेशन बंद

सीएए-एनआरसी को लेकर हर और माहौल बिगड़ा है तो वही ,रविवार के बाद सोमवार सुबह भी एहतियात के तौर पर मौजपुर और बाबरपुर मेट्रो स्टेशन बंद किए गए हैं। यहां कोई ट्रेन नहीं रुक रही है।आज शाहीन बाग जाने वाले रास्तों को खोलने को लेकर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई टल गई।
गौरतलब है कि शाहीन बाग के अलावा जाफराबाद व सीलमपुर में भी महिलाएं धरने पर बैठी थीं, लेकिन शनिवार रात जाफराबाद मेट्रो स्टेशन के नीचे महिलाओं ने सड़क जाम कर दी। पुलिस ने उन्हें खदेड़ा, बावजूद इसके प्रदर्शनकारी वहां फिर से जमा हो गए।

उधर, भीम आर्मी ने रविवार को भारत बंद का आह्वान किया था, वहीं इसके समर्थन में जाफराबाद के प्रदर्शनकारियों ने राजघाट तक मार्च निकालने की घोषणा की थी।

शाहीन बाग नहीं पहुंचे वार्ताकार

शाहीन बाग का रास्ता खाली कराने के लिए सुप्रीम कोर्ट की ओर से नियुक्त वार्ताकार संजय हेगड़े और साधना रामचंद्रन अंतिम दिन रविवार को प्रदर्शनस्थल नहीं पहुंचे। उन्हें अब सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में अपनी रिपोर्ट देनी है। अब सभी पक्षों की नजरें एक बार फिर सुप्रीम कोर्ट पर तिकी हैं। वार्ताकारों के आने की उम्मीद में भारी संख्या में जुटे प्रदर्शनकारियों का कहना है कि कोर्ट उनके हक में ही फैसला देगा।

भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने सीएए के समर्थन में धरना देने का किया था आह्वान

सुबह करीब 10 बजते ही सीएए विरोधी महिलाओं ने जाफराबाद मेट्रो स्टेशन पर एक तरफ का रास्ता बंद कर दिया। धीरे-धीरे सीलमपुर, जाफराबाद, मौजपुर, बाबरपुर, वेलकम और कर्दमपुरी से भी महिलाएं वहां जुटने लगीं। भारी संख्या में युवक भी वहां पहुंचकर नारेबाजी करने लगे। दोपहर तक वहां भारी भीड़ जुट गई थी। इसी बीच, भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने सीएए के समर्थन में दोपहर तीन बजे मौजपुर लालबत्ती पर धरना देने का आह्वान कर समर्थकों से वहां जुटने का आह्वान कर दिया। इसके बाद बड़ी संख्या में लोग एकजुट होने लगे। उनके साथ कपिल मिश्रा भी धरने पर बैठ गए। शाम करीब चार बजे भीम सेना के कुछ समर्थक नारेबाजी करते हुए वहां से गुजर रहे थे। इनके साथ कपिल समर्थकों की कहासुनी हो गई जो हाथापाई में बदल गई। भीम सेना के समर्थकों को पीटने के साथ ही उनकी गाड़ी तोड़ दी गई।

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